इमलिया सुल्तानपुर (सीतापुर)। इलाके में चहलकदमी कर रहे वन्यजीव की धरपकड़ को लेकर वन विभाग पूरी तरह उदासीन बना है। लगातार मिल रहे वन्यजीव के पग चिन्ह व मोबाइल कैमरे में कैद हो चुकी तस्वीर के बाद भी वन विभाग की टीम ने प्रभावित इलाके में वन्यजीव को पकड़ने के लिए पिंजरा तक लगाना मुनासिब नहीं समझा है। क्षेत्रीय लोग वन्यजीव के तेंदुआ या बाघ होने की आशंका के कारण भयभीत हैं। थाना इमलिया सुल्तानपुर इलाके के शेरपुर, ढोलई, रामविलासपुरवा व रोजहा में जंगली जानवर के पग चिन्ह मिलने व किसानों द्वारा देखे गए जंगली जानवर को लेकर दहशत कायम है। ग्रामीणों का कहना है इलाके में बाघ विचरण कर रहा है। रोजहा निवासी आदेश सिंह ने बताया कि बीते दिन जब जेसीबी की लाइट जली तो झाड़ियों में तेंदुआ नजर आया था। उसे मोबाइल के कैमरे में भी कैद कर वन विभाग को जानकारी दी गई लेकिन इसके बाद भी वन विभाग की टीम आशंकित वन्यजीव को पकड़ना तो दूर उसकी खोजबीन करने से भी किनारा कसे है।
इलाके के शेरपुर, रामविलास पुरवा, ढोलईखुर्द में जंगली जानवर के पग चिन्ह दिखने पर वन विभाग के दरोगा ने उसकी फोटो रेंजर को भेजी थी। लेकिन सप्ताह भर से ज्यादा का समय बीत जाने के बाद भी वन विभाग के लोग अभी तक पग चिन्ह की पहचान तक नहीं कर सके हैं। वहीं हरगांव रेंजर बीनू पाल का कहना है कि देखा गया वन्यजीव तेंदुआ या कोई दूसरा बड़ा जानवर हो सकता है लेकिन उसकी सटीक लोकेशन नहीं मिल पा रही है।इसी कारण पकड़ने के लिए पिंजरा लगाने में परेशानी आ रही हैं।