एंटी करप्शन की टीम ने क्राइम ब्रांच के इंस्पेक्टर हीरा सिंह को 50 हजार रुपये घूस लेते हुए रंगे हाथों गिरफ्तार किया। मुकदमे में आरोपित बनाए गए एक युवक से इंस्पेक्टर ने घूस मांगी थी। दही थाना में मुकदमा दर्ज करने की कार्रवाई शुरू की गई है। इंस्पेक्टर हीरा सिंह पूर्व में अचलगंज थाना के प्रभारी रह चुके हैं। वर्तमान में वह जिले की अपराध शाखा में तैनात थे।
Abhigya Times, उन्नाव। प्लाट पर कब्जे के मामले में दर्ज मुकदमे की जांच कर रहे अपराध शाखा के इंस्पेक्टर हीरा सिंह को एंटी करप्शन टीम ने 50 हजार रुपये घूस लेते हुए रंगे हाथ गिरफ्तार कर लिया। मुकदमे में आरोपित बनाए गए एक युवक से इंस्पेक्टर ने घूस मांगी थी। दही थाना में मुकदमा दर्ज करने की कार्रवाई शुरू की गई है।
इंस्पेक्टर हीरा सिंह पूर्व में अचलगंज थाना के प्रभारी रह चुके हैं। वर्तमान में वह जिले की अपराध शाखा में तैनात थे।
फायरिंग कर जानलेवा हमले का प्रयास
28 मई 2024 को सदर क्षेत्र के शेखपुर निवासी ओरियंटल पैलेस के मालिक असलम ने हिस्ट्रीशीटर फहद के अलावा भूपेंद्र, गौरव सिंह निवासी ख्वाजीपुर करोवन, उनके साथी गौरव शुक्ला, ताबिश सिद्दीकी, सचिन विमल निवासी पीतांबर नगर सदर पर खाली प्लाट पर कब्जा करने व फायरिंग कर जानलेवा हमले के प्रयास का मुकदमा दर्ज कराया था।
पुलिस द्वारा कोई कार्रवाई न करने पर पीड़ित ने एसपी से मिलकर विवेचना किसी दूसरी शाखा से करने की मांग की थी। इस पर पूर्व एसपी सिद्धार्थ शंकर मीना ने क्राइम ब्रांच (अपराध शाखा) के निरीक्षक हीरा सिंह को जांच दी थी। इसी मामले के आरोपित सचिन विमल का नाम मुकदमे से निकलने के लिए इंस्पेक्टर हीरा सिंह ने उससे 50 हजार की घूस मांगी थी। सचिन विमल ने इसकी शिकायत एंटी करप्शन शाखा लखनऊ से की थी।
पैसा लेते हुए एंटी करप्शन ने रंगे हाथ पकड़ा
योजना के तहत एंटी करप्शन के कहने पर सचिन विमल 50 हजार रुपये लेकर शनिवार को पुलिस क्लब पहुंचा और हीरा सिंह को देने लगा। इसी दौरान एंटी करप्शन ने हीरा सिंह को रंगे हाथ पकड़ लिया। उन्हें लेकर दही थाना पहुंची और कार्रवाई शुरू की है।